हील इन राजस्थान पॉलिसी से प्रदेश बनेगा मेडिकल वैल्यू ट्रैवल डेस्टिनेशन: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा 

हील इन राजस्थान पॉलिसी से प्रदेश बनेगा मेडिकल वैल्यू ट्रैवल डेस्टिनेशन: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा 

राज्य सरकार के हर निर्णय, प्रयास और योजना के केंद्र में आमजन, ‘स्वस्थ राजस्थान’ के लक्ष्य के लिए प्रतिबद्ध राज्य सरकार

गांव-ढाणियों तक गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधाओं की पहुंच हो रही सुगम

राज्य सरकार की दूसरी वर्षगांठ पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य क्षेत्र को मिली नई सौगातें

जयपुर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि राजस्थान का हर नागरिक निरोगी, स्वस्थ और खुशहाल हो, इस संकल्प को साकार करने की दिशा में राज्य सरकार ‘स्वस्थ राजस्थान’ के लक्ष्य पर प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही हैै। इसके अंतर्गत प्रदेश में विश्वस्तरीय चिकित्सा सुविधाओं का ढांचा तैयार करने के साथ ही गांव-ढाणियों तक गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधाओं की पहुंच को सुगम बनाया जा रहा है। 
शर्मा सोमवार को राज्य सरकार के दो वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में आरयूएचएस चिकित्सालय परिसर में आयोजित राज्य स्तरीय आरोग्य शिविर, रक्तदान शिविर और विभिन्न कार्यक्रमों के शुभारंभ समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होेंने कहा कि राज्य सरकार ने दो वर्ष सेवा और समर्पण के साथ कार्य किया है। इन दो वर्षों में सुशासन की स्थापना, विकास को गति देने और प्रदेशवासियों की खुशहाली के लिए राज्य सरकार ने हर निर्णय, हर प्रयास, हर योजना के केंद्र में जनता को ही रखा। 

आरयूएचएस में क्रिटिकल केयर ब्लॉक का शुभारंभ

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की दूसरी वर्षगांठ के अवसर पर प्रदेशभर में स्वास्थ्य सेवाओं के उन्नयन के लिए कई महत्वपूर्ण सौगातें दी गई हैं। आरयूएचएस में उन्नत चिकित्सा सुविधाओं से युक्त क्रिटिकल केयर ब्लॉक प्रदेशवासियों को समर्पित किया जा रहा है। यह ब्लॉक 20 करोड़ रुपये की लागत से बना है, जिसमें आईसीयू बेड, इमरजेंसी के लिए विशेष बेड, एडवांस्ड वेंटिलेटर सिस्टम, मॉड्यूलर ऑपरेशन थियेटर और डायलिसिस आदि सुविधाएं हैं। 

आरोग्य शिविरों में रोगियों के लिए निशुल्क दवा और जांच

उन्होंने कहा कि प्रदेशभर में मेडिकल कॉलेजों से लेकर सब सेंटर तक आरोग्य शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। इनमें 30 वर्ष से अधिक आयु के हर व्यक्ति की बीएमआई, बीपी, शुगर और कॉमन कैंसर आदि की जांच कर उचित उपचार किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि आरोग्य शिविर में आने वाले रोगियों को निःशुल्क दवा और जांच उपलब्ध है। 

रक्तदान अनगिनत जीवन बचाने का संकल्प

मुख्यमंत्री ने कहा कि रक्त का कोई विकल्प नहीं है। जिन्होंने रक्तदान जैसा महादान कर अनगिनत जीवन बचाने का संकल्प लिया है, वे सभी अभिनंदन के पात्र हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेशभर के जिला मुख्यालय तथा तहसील स्तर पर रक्तदान शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। शर्मा ने मेडिकल टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए हील इन राजस्थान पॉलिसी, 2025 का विमोचन किया। उन्होंने कहा कि यह नीति प्रदेश को कम लागत वाले विश्वसनीय और सुलभ मेडिकल वैल्यू ट्रैवल डेस्टिनेशन के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। 

डेढ़ लाख दिव्यांगजनों को कृत्रिम अंग एवं उपकरण

शर्मा ने कहा कि केन्द्र और राज्य की डबल इंजन की सरकार दिव्यांगजनों के कल्याण और सम्मान के लिए प्रतिबद्ध होकर कार्य कर रही है। यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ही विशेष योग्यजनों को विकलांग नहीं, दिव्यांग कहकर उनका सम्मान बढ़ाया। उन्होंने कहा कि इसी कड़ी में दिव्यांगजनों को व्हील चेयर और उपकरणों का वितरण किया जा रहा है। राज्य सरकार ने अपने दो बजट में डेढ़ लाख दिव्यांगजनों को 20 हजार रुपये तक के कृत्रिम अंग एवं उपकरण उपलब्ध कराने का संकल्प लिया है, जिसे हम तेजी से पूरा कर रहे हैं। 

निशुल्क जांचों के लिए हब एवं स्पोक मॉडल प्रारंभ

मुख्यमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत निःशुल्क जांचों के लिए हब एवं स्पोक मॉडल लागू किया जा रहा है। इसके तहत राजकीय चिकित्सालयों में मरीजों को ट्रोपोनिन, कैंसर मार्कर, बायोप्सी, विटामिन्स, थैलेसीमिया, हीमोफिलिया, हेपेटाइटिस और थायराइड जैसी 100 से अधिक विशिष्ट जांचें निशुल्क उपलब्ध करवाई जाएंगी। उन्होंने कहा कि राज्य में 42 मदर लैब, 137 हब लैब एवं 1 हजार 333 स्पोक चिह्नित किए गए हैं। आज 11 मदर लैब व 400 स्पोक का शुभारंभ किया जा रहा है। इस मॉडल में सैंपल कलेक्शन से लेकर रिपोर्टिंग तक सभी कार्यों का रेकॉर्ड ऑनलाइन रखा जाएगा और मरीजों को घर बैठे ऑनलाइन रिपोर्ट मिल सकेगी। 

गर्भवती महिलाओं को एनीमिया से मुक्त करने के लिए एफसीएम इंजेक्शन अभियान शुरू

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार के दो वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में प्रदेशभर में गर्भवती महिलाओं को एनीमिया से मुक्त करने हेतु एफसीएम इंजेक्शन अभियान प्रारंभ किया है। साथ ही, सभी राजकीय विद्यालयों के विद्यार्थियों की आंखों की जांच और उन्हें निःशुल्क चश्मे उपलब्ध कराने के लिए कार्यक्रम शुरू किया गया है। इस कार्यक्रम में विद्यार्थियों में थैलेसीमिया और सिकल सेल बीमारी की जांच भी की जाएंगी। 

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में 35 हजार पदों पर हुई भर्ती

शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश के स्वास्थ्य परिदृश्य को बदलने के संकल्प को तेजी से साकार कर रही है। गत दो वर्षों में चिकित्सा और स्वास्थ्य विभाग में 35 हजार पदों पर भर्ती की गई है। वहीं, 15 हजार पदों के लिए नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य योजना में 132 नए पैकेज जोड़े गए हैं। इस योजना के तहत अब तक 35 लाख से अधिक लाभार्थियों को कैशलैस चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जा चुकी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बारां, बांसवाड़ा, नागौर, झुंझुनूं, सवाईमाधोपुर, टोंक एवं जैसलमेर में 7 नए मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किए हैं। साथ ही, राजकीय एवं निजी क्षेत्र के कॉलेजों में 1 हजार 650 एमबीबीएस सीटें बढ़ाई हैं। 

विभिन्न गैर-सरकारी संस्थाओं के साथ एमओयू

उन्होंने कहा कि प्रदेश के चिकित्सा बुनियादी ढांचे को मजबूत बनाने के प्रयासों में राज्य सरकार को भामाशाहों का भी सहयोग मिल रहा है। इसी दिशा में श्रीमती सी. एम. मूंदड़ा मेमोरियल चैरिटेबल ट्रस्ट की ओर से बीकानेर में सरदार वल्लभ भाई पटेल अस्पताल में 100 करोड़ रुपये से अधिक लागत से चार मंजिला मेडिसिन एवं आईपीडी विंग का निर्माण करवाया गया है। इस संबंध में आज हस्तांतरण और संचालन के लिए एमओयू किया गया है। उन्होंने कहा कि आरोग्य सेवा फाउंडेशन के साथ राजकीय अस्पतालों के परिसरों में रोगियों एवं उनके परिजनों के लिए विश्राम स्थलों के निर्माण और राज्य में कैंसर स्क्रीनिंग वैन के लिए विभिन्न निजी संस्थाओं के साथ एमओयू किए गए हैं। साथ ही, अपना घर संस्था के साथ निराश्रित रोगियों की सेवा के लिए तथा आरसीडीएफ के साथ चिकित्सालयों में फूड कोर्ट की स्थापना के लिए एमओयू किए गए हैं।

हमारे दो वर्ष में पूर्ववर्ती सरकार की तुलना में अधिक कार्य

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने दो वर्ष के कार्यकाल में कई क्षेत्रों में पूर्ववर्ती सरकार की तुलना में कहीं अधिक काम किया है। उन्होंने कहा कि हमारे दो वर्ष के कार्यकाल में 84 हजार 592 हैक्टेयर भूमि में नहरी तंत्र से सिंचाई सुविधाएं दी गई जबकि इस अवधि में पूर्ववर्ती सरकार में यह आंकड़ा 17 हजार 448 हैक्टेयर और पूरे पांच साल में 52 हजार 182 रहा। उन्होंने कहा कि पूर्ववर्ती सरकार ने 2 वर्ष में 6 हजार 391 फार्म पौंड का निर्माण कराया, जबकि हमने 2 वर्ष में ही 35 हजार 368 फार्म पौंड बनाए। वहीं, गत सरकार के दो वर्ष में 43 हजार 829 किसान पाइपलाइन अनुदान से लाभान्वित हुए थे जबकि हमारे दो साल में 98 हजार 753 किसान लाभान्वित हो चुके हैं। इसी प्रकार किसानों को अल्पकालीन ऋण और अनुदान, डिग्गी निर्माण, सौर ऊर्जा संयंत्रों की स्थापना, पशु चिकित्सालयों की स्थापना, स्वामित्व कार्ड वितरण, स्कूली विद्यार्थियों को लैपटॉप और साइकिल वितरण सहित कई योजनाओं और कार्यक्रमों में राज्य सरकार ने अपने 2 वर्ष के कार्यकाल में पूर्ववर्ती सरकार से कई अधिक काम किए हैं। 

शर्मा ने समारोह स्थल पर दिव्यांगजनों को स्कूटी, मोटराइज्ड ट्राई साइकिल, सहायक अंग एवं उपकरण वितरित किए। इस दौरान उन्होंने लाभार्थियों से आत्मीयपूर्ण संवाद किया।

इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री डॉ. प्रेमचंद बैरवा, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री गजेन्द्र सिंह खींवसर, संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल, मुख्य सचिव वी. श्रीनिवास सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, अधिकारीगण एवं बड़ी संख्या में आमजन उपस्थित रहे।