बिजली कंपनी की मनमानी, ईमानदारों को करंट, डिफॉल्टरों पर मेहरबानी

बिजली कंपनी की मनमानी, ईमानदारों को करंट, डिफॉल्टरों पर मेहरबानी

कंपनी ने ली 45 दिन की रीडिंग, बिल पर दिखा रहे 30 दिन की खपत

भोपाल। मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी ने शहर में उपभोक्ताओं को एक और धोखा दिया है। 45 दिन बाद उपभोक्ताओं के यहां मीटर की रीडिंग की जा रही है, लेकिन बिल पर 30 दिन की खपत ही प्रिंट की जा रही है। कंपनी द्वारा बिलों में की गई इस करामात से शहरवासियों में आक्रोश बढ़ रहा है। उपभोक्ता को 251 से लेकर 515 रुपये तक की चपत लगाई है। ऐसे में औसतन कंपनी को एक उपभोक्ता से 200 रुपये अतिरिक्त मिलते हैं तो कंपनी को करोडों़ का फायदा होगा। बिजली नियामक आयोग ने बिलिंग को लेकर नियम निर्धारित किए हैं। इसके तहत उपभोक्ता को 30 दिन की खपत का बिल दिया जाएगा। अगर इससे ज्यादा का बिल दिया जाता है तो वह अवैध माना जाएगा, लेकिन बिजली कंपनी ने अपनी रीडिंग साइकिल को बदलने के लिए अगस्त में बिल नहीं बांटे। सितंबर के पहले सप्ताह में मीटर रीडिंग लेना शुरू किया, जिससे रीडिंग का कार्य 15 से 20 दिन लेट हो गया। अब उपभोक्ता के हाथ में 45 से 50 दिन की रीडिंग का बिल आ रहा है। बीते महीने की तुलना में डेढ़ गुना बिल ज्यादा आया है। उपभोक्ता ज्यादा बिल की शिकायत लेकर बिजली कंपनी के कार्यालय पहुंच रहे हैं, लेकिन उन्हें यह कहते हुए टाल दिया जा रहा है कि आपके पास सही खपत का बिल आया है। हमारे कम्प्यूटर ने आपकी खपत को विभाजित कर दिया है। लोगों को निराश होकर लौटना पड़ रहा है। सरकार डिफॉल्टरों पर मेहरबानी दिखा रही है। दावा कर रही है कि आमजन के बिलों में राहत दी है, लेकिन इस राहत की भरपाई 45 दिन की खपत का बिल देकर पूरी कर ली है। अगर पूरे अंचल के उपभोक्ताओं की चपत पर नजर डालेंगे तो यह राशि करोड़ों रुपये में पहुंचेगी। विधानसभा चुनाव से पहले 2018 में शहर में डिफॉल्टरों के बिल माफ किए थे। अब उपचुनाव को देखते हुए 1000 वाट लोड वाले उपभोक्ताओं का बकाया की वसूली पर रोक लगा दी। कंपनी डिफॉल्टरों पर लगातार मेहरबान है, लेकिन ईमानदार उपभोक्ताओं पर गलत रीडिंग कर लूट की जा रही है। उपभोक्ता के पास शिकायत के यह विकल्प अगर कंपनी गलत बिल देती है तो बिजली नियामक आयोग ने चांदबड़ भोपाल में बिजली शिकायत निवारण फोरम बनाया है। उपभोक्ता डाक के माध्यम से शिकायत भेज सकते हैं। उपाय एप पर भी बिजली बिल की शिकायत के लिए सुविधा दी गई है। भोपाल स्थित कॉल सेंटर के नंबरों पर भी बिल की शिकायत कर सकते हैं। जोन में लिखित शिकायत कर उसकी रिसीविंग लेनी होगी। इसके बाद जिला उपभोक्ता फोरम व शिकायत निवारण फोरम में केस दायर सकते हैं। इनका कहना है कुछ उपभोक्ताओं के पास 45 दिन के बिल पहुंचे थे। मुझे जानकारी मिलने के बाद 45 दिन की खपत के बिलों को रुकवा दिया है। 30 दिन की ही खपत के बिल उपभोक्ता को मिलेंगे। अगर किसी उपभोक्ता को 45 दिन का बिल मिला है तो उसकी जानकारी मुझे दीजिए। प्रद्युम्न सिंह तोमर, ऊर्जा मंत्री