किसानों का मोदी सरकार से विश्वास उठ चुका है: राहुल गांधी
नई दिल्ली, केन्द्र सरकार के कृषि अध्यादेशों पर मचा बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक ओर जहां देशभर में हंगामे के साथ आरोप प्रत्यारोप की राजनीति चल रही है, वहीं राजनीतिक दल भी सीधे तौर पर अपने-अपने राज्यों के आगामी चुनावों पर नजर गड़ाये बैठे हैं। हालांकि अपने पुराने सहयोगी अकाली दल के विरोध का सामना कर रही केन्द्र सरकार को अब मुख्य विपक्षी 'कांग्रेस' के एक पूर्व राष्ट्रीय प्रवक्ता की ओर से इस मुद्दे पर 'संजीवनी' मिल गई है। कांग्रेस के पूर्व नेता संजय झा ने कहा है कि लोकसभा से पारित कृषि संबंधित अध्यादेश कांग्रेस के घोषणा पत्र में भी थे।
कांग्रेस में आंतरिक चुनाव और गैर गांधी अध्यक्ष की मांग को लेकर पार्टी से निष्कासित किए गए पूर्व प्रवक्ता संजय झा ने शुक्रवार को ट्वीट किया, 'साल 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस ने भी अपने घोषणापत्र में एपीएमसी अधिनियम को खत्म करने और कृषि उत्पादों को प्रतिबंधों से मुक्त करने की बात कही थी।' उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने जो वादा अपने घोषणापत्र में किया था, वही मोदी सरकार ने पूरा किया है। झा ने कहा कि इस मुद्दे पर बीजेपी और कांग्रेस एकमत हैं।
पीएम मोदी ने बोला था विपक्ष पर हमला
इससे पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी लोकसभा से पास हुए किसान अध्यादेश को लेकर कहा था कि जो अध्यादेश बीजेपी ने पास कराया, वह साल 2019 में कांग्रेस के घोषणापत्र में भी था। पीएम मोदी ने कहा था, 'चुनाव के समय किसानों को लुभाने के लिए ये बड़ी-बड़ी बातें करते थे, लिखित में करते थे, अपने घोषणापत्र में डालते थे और चुनाव के बाद भूल जाते थे। और आज जब वही चीजें एनडीए सरकार कर रही है, किसानों को समर्पित हमारी सरकार कर रही है, तो ये भांति-भांति के भ्रम फैला रहे हैं। जिस APMC एक्ट को लेकर अब ये लोग राजनीति कर रहे हैं, एग्रीकल्चर मार्केट के प्रावधानों में बदलाव का विरोध कर रहे हैं, उसी बदलाव की बात इन लोगों ने अपने घोषणापत्र में भी लिखी थी लेकिन अब जब एनडीए सरकार ने ये बदलाव कर दिया है, तो ये लोग इसका विरोध करने पर उतर आए हैं।'
'कृषि बिलों से किसानों के बंधन खुले'
बिहार के कोसी में रेल पुल का ऑनलाइन उद्घाटन करते हुए पीएम मोदी ने कहा था, 'कल विश्वकर्मा जयंती के दिन, लोकसभा में ऐतिहासिक कृषि सुधार विधेयक पारित किए गए हैं। इन विधेयकों ने हमारे अन्नदाता किसानों को अनेक बंधनों से मुक्ति दिलाई है, उन्हें आजाद किया है। इन सुधारों से किसानों को अपनी उपज बेचने में और ज्यादा विकल्प मिलेंगे, और ज्यादा अवसर मिलेंगे।'
राहुल बोले- मोदी जी की कथनी-करनी में अंतर
दूसरी ओर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट कर कहा कि किसानों का मोदी सरकार से विश्वास उठ चुका है क्यूंकि शुरू से मोदी जी की कथनी और करनी में फ़र्क़ रहा है। उन्होंने कहा, 'जागृत किसान जानता है- कृषि विधेयक से मोदी सरकार बढ़ाएगी। अपने 'मित्रों' का व्यापार और करेगी किसान की रोज़ी-रोटी पर वार।'
हरसिमरत कौर ने दिया था इस्तीफा
इससे पहले संसद में पेश कृषि बिलों के विरोध में अकाली दल कोटे की मंत्री हरसिमरत कौर बादल ने एनडीए सरकार से इस्तीफा दे दिया था। हरसिमरत कौर ने प्रधानमंत्री मोदी को सौंपे इस्तीफे में अपनी पार्टी और किसानों को एक दूसरे का पर्याय बताया था। उन्होंने कहा था कि किसानों के हितों से उनकी पार्टी किसी तरह का समझौता नहीं कर सकती।