खरगोन
सीधी बस हादसे के बाद लगातार बसों की चेकिंग की जा रही है। कमियां मिलने के बाद बसों को सीज किया जा रहा है। इसके खिलाफ एमपी के खरगोन जिले में बस ऑनर्स ने बसों का संचालन रोक दिया है। इससे 500 बसों के पहिए थम गए। बसों का परिचालन ठप होने की वजह से आम यात्रियों की परेशानी बढ़ गई। खरगोन में सीधी हादसे के बाद प्रशासन ने 26 बस जप्त की है।
दरअसल, खरगोन-बड़वानी सहित आसपास के क्षेत्रों में चलने वाली करीब 500 बसों का संचालन बंद होने से रविवार को यात्रियों की भारी फजीहत हुई। कई यात्री बस स्टैंड पर बसों की प्रतीक्षा करते हुए घंटों बैठे रहे। अचानक हड़ताल होने से सैकड़ों यात्रियों को हड़ताल की जानकारी नहीं थी, इसके चलते परिवार सहित परेशान होते रहे। कुछ प्राइवेट वाहन कर अपने घर पहुंचे। अचानक इस तरह के निर्णय से कई यात्रियों ने नाराजगी भी जाहिर की।
गौरतलब है कि मप्र के सीधी जिले में हुए भीषण बस हादसे के बाद शुक्रवार को खरगोन आरटीओ बरखा गौड़ ने 17 वाहनों सहित 5 निजी बसों पर कार्रवाई कर यातायात थाने में खड़ा कर दिया, लेकिन खरगोन के निजी यात्री बस संचालकों को ये कार्रवाई नागवार गुजरी है। बसों के खिलाफ कार्रवाई करने से आक्रोशित बस ऑनर्स एसोसिएशन के पदाधिकारियों और बस मालिक शनिवार को कलेक्टर कार्यालय पहुंचे थे।
बस संचालकों ने कलेक्टर के नाम एसडीएम खरगोन सत्येन्द्र सिंह को आरटीओ की कार्यप्रणाली को लेकर ज्ञापन सौंपा था। साथ ही रविवार से जिले भर में बसों की हड़ताल की चेतावनी दी थी और रविवार को सभी बसों का संचालन रोक दिया। आरटीओ बरखा गौड़ ने कहा कि शासन के निर्देशानुसार बसों की चेकिंग की गई और कार्रवाई की गई है। मनमानी का आरोप गलत है।