देश में पहली बार ट्रांसजेंडर सौरव किट्टू टांक ने फतह की वर्जिन पीक

देश में पहली बार ट्रांसजेंडर  सौरव किट्टू टांक ने फतह की वर्जिन पीक

भोपाल
मध्यप्रदेश के ट्रांसजेंडर (transgender) सौरव किट्टू टांक ने 6000 मीटर की ऊंचाई पर स्थित हिमाचल प्रदेश की वर्जिन पीक (Virgin peak) फतह कर ली है. ये उपलब्धि हासिल करने वाले वो देश के पहली ट्रांसजेंडर हैं. उनकी इस उपलब्धि पर केंद्रीय खेल राज्य मंत्री किरण रिजिजू ने आज दिल्ली में उनका सम्मान किया है. दो अक्टूबर गांधी जयंती के दिन किट्टू ने इस माउंटेन पीक को फतह किया.

किट्टू भारत के पहले ट्रांसजेंडर हैं जिन्होंने आईएमएफ (इंडियन मांउटेनिंग फेडरेशन) द्वारा परमिट माउंटेन एक्सपीडिशन में हिस्सा लिया है. यह वर्जिन पीक हिमाचल प्रदेश की स्पिति वेली में है. यहां का औसतन तापमान -15°c रहता है. आज देश खेल राज्य किरण रिजिजू से किट्टू ने मुलाकात की. रिजिजू ने उन्हें बधाई  के साथ उनका सम्मान भी किया. किट्टू के साथ उनकी कोच मेघा परमार और शोभित भी मौजूद थे.

सबसे खतरनाक है वर्जिन पीक
वर्जिन पीक खतरों से भरी पड़ी है. यहां कभी भी बर्फ की बारिश होना आम बात है. साथ ही यहां की ठंडी हवाओं के साथ सूरज की तपिश खतरनाक होती है. ऐसे  खतरनाक मौसम में भी इस पीक को फतह करना आपने आप में सराहनीय काम है. किट्टू पिछले छह महीनों से मेघा परमार और एस के प्रसाद के साथ ट्रेंनिग कर रहे थे. वह हर दिन सुबह 10 किलोमीटर दौड़ते थे. इसके बाद वह योग के माध्यम से अपने शरीर को माउंटेन की परेशानियों को झेलने लायक बनाया. उनकी ट्रेंनिग और डाइट का ख्याल उनकी गुरु मेघा परमार ने रखा.

किट्टू ने दिया ये संदेश
सौरव किट्टू टांक ने यह पीक फतह करते ही एक संदेश दिया. उनका कहना है कि किसी भी स्कूल कॉलेज या प्रसाशनिक संस्था में लड़का लड़की और ट्रांसजेंडर का अलग अलग टॉयलेट होना चाहिए. वो आगे कहते हैं कि यह लड़ाई बस टॉयलेट की नहीं है बल्कि यह ट्रांसजेंडर के सम्मान की लड़ाई है. उन्होंने पीक पर पहुंचते ही नारा दिया "नर नारी किन्नर एक समान".

मेघा परमार थीं कोच
किट्टू इस एक्सपीडिशन में अपने कोच और गुरु मध्यप्रदेश की एवरेस्ट फतह करने वाली मेघा परमार के साथ गए थे. साथ ही बिग स्टेप एडवेंचर कंपनी के संस्थापक और माउंटेनियर शोभित शर्मा भी इस एक्सपीडिशन में शामिल थे. शोभित ने माउंटेनियरिंग में कदम रखते ही ऑस्ट्रेलिया के माउंट कोजियास्को को फतह किया था. दो अक्टूबर गांधी जयंती के दिन किट्टू ने इस माउंटेन पीक को फतह किया.