केरल: रिटायर हो रहे ड्राइवर को घर छोड़ने गए कलेक्टर

करूर 
केरल में करूर के जिला कलेक्टर अनबगजन के ड्राइवर के परमसिवम को अंदाजा भी नहीं था कि उन्हें अपने रिटायरमेंट पर ऐसा तोहफा मिलेगा। अनबगजन ने खुद ही अपने ड्राइवर को गाड़ी में बैठाकर उनके 35 साल के करियर के बाद उन्हें विदाई दी। कलेक्टर ने जब यह कहा कि परमसिवम और उनके परिवार को छोड़ने वह खुद जाएंगे तो सभी हैरान रह गए। उनसे जब इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने बताया कि उनके ड्राइवर होने के नाते परमसिवम इस सम्मान के हकदार थे।


वहीं परमसिवम ने कहा कि उन्होंने कभी ऐसा सोचा भी नहीं था। उन्होंने बताया, 'समारोह के दौरान कलेक्टर ने मुझे एक रिंग दी लेकिन जब उन्होंने कहा कि वह मुझे घर छोड़ने जाएंगे तो मैं भावुक हो गया। वह हमारे घर आए, चाय पी और कुछ समय बिताया।' 

परिवार से मिले कलेक्टर

अनबगजन ने ऐसा काम पहली बार नहीं किया है जिसके लिए उन्हें तारीफें मिली हों। मार्च में करूर आए कलेक्टर एक 80 साल की महिला के घर पहुंचे थे जो अकेली रहती हैं। उन्होंने महिला के साथ बातें की और खाना खाया। उन्होंने महिला के लिए 1000 रुपये प्रतिमाह की पेंशन की इंतजाम भी किया। 


महिला के घर पहुंचे थे कलेक्टर

दो साल पहले महाराष्ट्र के अकोला के रेवेन्यू डिपार्टमेंट में ड्राइवर की नौकरी से रिटायर हो रहे दिगंबर थाक को जिले के कलेक्टर जी. श्रीकांत खुद ड्राइव करके उन्हें घर से ऑफिस तक ले गए।